पूरे मामले का विवरण:
राजस्थान में बीएससी नर्सिंग पाठ्यक्रम के सेकेंड और थर्ड सेमेस्टर के पेपर 23, 24 और 25 जनवरी को आयोजित हुए थे, लेकिन ये पेपर पहले ही लीक हो गए थे। इसके बाद इन पेपर्स को रद्द कर दिया गया और पुलिस ने 5 संदिग्धों को गिरफ्तार कर पूछताछ शुरू कर दी है। आरोप है कि इन पेपरों की कुछ हस्तलिखित कॉपियां छात्रों को पहले ही मिल गई थीं।
विपक्ष ने सरकार की निंदा की:
नेता प्रतिपक्ष टीकाराम जूली ने सोशल मीडिया पर सरकार पर हमला बोलते हुए इसे प्रशासनिक असफलता करार दिया। उन्होंने आरोप लगाया कि प्रशासन को 24 जनवरी को ही पेपर लीक की जानकारी मिल चुकी थी, लेकिन पुलिस को 48 घंटे बाद इसकी सूचना दी गई। जूली ने इसे भ्रष्टाचार और मिलीभगत का संकेत माना और सरकार से सख्त कार्रवाई की मांग की।
कांग्रेस प्रदेशाध्यक्ष गोविंद सिंह डोटासरा का बयान:
कांग्रेस प्रदेशाध्यक्ष गोविंद सिंह डोटासरा ने भी भाजपा सरकार की आलोचना की। उन्होंने कहा कि राज्य की हेल्थ यूनिवर्सिटी का पेपर लीक भाजपा सरकार के दावों को झुठलाता है। डोटासरा ने भाजपा पर नकल माफिया के खिलाफ कोई ठोस कदम न उठाने का आरोप लगाया और कहा कि सरकार युवाओं के भविष्य को नुकसान पहुंचा रही है।
नतीजा:
राजस्थान में पेपर लीक की घटनाएं लगातार सामने आ रही हैं, और विपक्षी दल इन मामलों को लेकर सरकार पर लगातार हमले कर रहे हैं, जो युवाओं के भविष्य के लिए चिंता का विषय बन गया है।