


कर्नाटक के हावेरी जिले में 2024 के हनगल गैंगरेप मामले में आरोपियों को जमानत मिलने के बाद एक शर्मनाक घटना सामने आई है। आरोपियों ने जमानत मिलते ही कथित तौर पर मोटरसाइकिलों और कारों के साथ “विजय जुलूस” निकाला और खुलेआम जश्न मनाया। इस घटना ने स्थानीय लोगों और सामाजिक कार्यकर्ताओं के बीच आक्रोश पैदा कर दिया है और न्याय व्यवस्था पर भी सवाल खड़े किए हैं।
क्या है मामला?
2024 में हावेरी के हनगल में गैंगरेप का शिकार हुई महिला के साथ सात आरोपियों ने सामूहिक बलात्कार किया था। आरोपियों में मोहम्मद सादिक अगासिमनी, शोएब मुल्ला, तौसीप छोटी, समीवुल्ला लालनवर, आपताब चंदनकट्टी, मदार साब मंदक्की और रियाज सविकेरी शामिल थे। हाल ही में अदालत ने इन सभी आरोपियों को जमानत दे दी, जिसके बाद इन आरोपियों ने खुलेआम अपनी रिहाई का जश्न मनाते हुए विजय जुलूस निकाला। सोशल मीडिया पर वायरल हुए वीडियो में उन्हें मोटरसाइकिलों और कारों के साथ सड़कों पर निकलते हुए देखा गया। इस घटना से पीड़िता और समाज में गुस्सा भड़क उठा है।
कोर्ट के फैसले पर सवाल
सामाजिक कार्यकर्ताओं ने इस घटना को शर्मनाक करार दिया और कोर्ट से स्वत: संज्ञान लेने की मांग की है। बृंदा अडिगे, एक प्रमुख सामाजिक कार्यकर्ता, ने कहा कि यह घटना भयावह है और सवाल उठाया कि क्या कोर्ट ने जमानत के समय आरोपियों पर कोई पाबंदी नहीं लगाई थी? कई लोगों ने इसे न्याय व्यवस्था की नाकामी भी बताया है। एक्स पर इस घटना की तीव्र निंदा की जा रही है, और इसे पीड़िता के लिए अपमानजनक तथा समाज में गलत संदेश देने वाला बताया जा रहा है।

पुलिस और प्रशासन की प्रतिक्रिया
हावेरी और कर्नाटक पुलिस से इस मामले में त्वरित कार्रवाई की मांग की जा रही है। हालांकि, अभी तक इस जुलूस के संबंध में पुलिस द्वारा कोई आधिकारिक कार्रवाई नहीं की गई है। स्थानीय लोग यह सवाल उठा रहे हैं कि क्या इस तरह का खुला प्रदर्शन अपराधियों को बढ़ावा नहीं देता, और इसे अपराधी मानसिकता को और मजबूत करने वाला नहीं माना जाना चाहिए?