


बीकानेर।
जिला कलक्टर नम्रता वृष्णि ने भारतीय नागरिक सुरक्षा संहिता की धारा 163 के तहत जिले में नशीली दवाओं की खुली और अनियंत्रित बिक्री पर तत्काल प्रभाव से प्रतिबंध लगा दिया है। यह निर्णय लोकहित को ध्यान में रखते हुए लिया गया है।
अनुज्ञापन प्राधिकारी एवं सहायक औषधि नियंत्रक देवेंद्र कुमार केदावत ने बताया कि प्रेगाबलीन 75 एमजी, टेपेंटाडोल और ज्योपीक्लोन जैसे घटकों वाली दवाएं नशे के रूप में उपयोग में ली जा रही थीं। इस स्थिति को देखते हुए इन दवाओं की बिक्री पर सख्ती से रोक लगाई गई है।
आदेश के अनुसार अब कोई भी दवा विक्रेता इन दवाओं को बिना विधिवत बिल के नहीं बेच सकेगा। थोक विक्रेताओं को इन दवाओं के क्रय-विक्रय का पूरा विवरण बैच नंबर सहित स्टॉक रजिस्टर में दर्ज करना होगा। इसके साथ ही, इस विवरण को सप्ताह में एक बार ईमेल के माध्यम से सहायक औषधि नियंत्रक कार्यालय और पुलिस अधीक्षक कार्यालय को भेजना अनिवार्य होगा।

इन प्रतिबंधित दवाओं की खुदरा बिक्री केवल तब ही की जा सकेगी जब ग्राहक के पास चिकित्सक की मूल प्रिस्क्रिप्शन या पर्ची हो, जिस पर डॉक्टर की मुहर और दिनांक स्पष्ट रूप से अंकित हो। आदेश का उल्लंघन करने पर संबंधित विक्रेताओं के विरुद्ध नियमानुसार कार्रवाई की जाएगी।