बांग्लादेश एक बार फिर गंभीर अशांति की चपेट में आ गया है। छात्र नेता और इंकलाब मंच के संयोजक शरीफ उस्मान हादी की मौत के बाद देश के कई हिस्सों में हिंसक प्रदर्शन भड़क उठे हैं। हालात इतने बिगड़ गए कि गुस्साई भीड़ ने राजधानी ढाका में देश के सबसे प्रभावशाली मीडिया संस्थानों को भी निशाना बना डाला।
मीडिया पर सीधा हमला
ढाका के कारवां बाजार इलाके में स्थित बांग्ला दैनिक प्रोथोम आलो और अंग्रेजी अखबार द डेली स्टार के दफ्तरों में उग्र प्रदर्शनकारियों ने जबरन घुसकर तोड़फोड़ की और आग लगा दी। घटना के वक्त दोनों दफ्तरों में दर्जनों पत्रकार और कर्मचारी मौजूद थे। आग और धुएं की वजह से कई लोग ऊपरी मंजिलों और छत पर फंस गए, जिन्हें घंटों चले रेस्क्यू ऑपरेशन के बाद सुरक्षित बाहर निकाला गया।
संपादक से मारपीट का वीडियो वायरल
हिंसा से जुड़ा एक वीडियो सोशल मीडिया पर तेजी से फैल रहा है, जिसमें न्यू एज अखबार के संपादक नूरुल कबीर को भीड़ द्वारा घेरकर थप्पड़ मारते और बाल खींचते हुए देखा जा सकता है। इस घटना ने बांग्लादेश में प्रेस की सुरक्षा को लेकर गंभीर सवाल खड़े कर दिए हैं।
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कैसे हुई हादी की मौत
32 वर्षीय शरीफ उस्मान हादी हाल ही में ढाका-8 सीट से निर्दलीय उम्मीदवार के रूप में चुनाव लड़ने की घोषणा कर चुके थे। पिछले शुक्रवार को बिजोयनगर इलाके में चुनाव प्रचार के दौरान बाइक सवार हमलावर ने उनके सिर में गोली मार दी। गंभीर हालत में उन्हें पहले ढाका और फिर बेहतर इलाज के लिए सिंगापुर ले जाया गया, जहां छह दिन तक लाइफ सपोर्ट पर रहने के बाद गुरुवार रात उनकी मौत हो गई।
मौत के बाद भड़का जनाक्रोश
हादी की मौत की खबर आते ही उनके समर्थक सड़कों पर उतर आए। इंकलाब मंच के सोशल मीडिया पोस्ट में उन्हें “भारतीय वर्चस्व के खिलाफ संघर्ष में शहीद” बताया गया, जिसके बाद प्रदर्शन हिंसक हो गया। कई शहरों में मीडिया हाउस, राजनीतिक दफ्तरों, सांस्कृतिक संस्थानों और निजी संपत्तियों को निशाना बनाया गया।
भारतीय दूतावास के बाहर बवाल
चट्टोग्राम में भारतीय सहायक उच्चायोग के बाहर भी प्रदर्शनकारियों ने जमकर हंगामा किया। अवामी लीग और भारत के खिलाफ नारे लगाए गए। स्थिति बिगड़ती देख पुलिस और सुरक्षा बलों को देर रात हस्तक्षेप करना पड़ा और प्रदर्शनकारियों को परिसर से पीछे हटाया गया।
विवादों में रहा हादी
हादी हाल के महीनों में अपने तीखे भारत विरोधी बयानों के कारण चर्चा में थे। उन्होंने सोशल मीडिया पर भारत के पूर्वोत्तर राज्यों को बांग्लादेश का हिस्सा दिखाने वाला एक विवादित पोस्ट भी साझा किया था, जिसे दोनों देशों के बीच तनाव बढ़ाने वाला माना गया।
मौजूदा हालात
ढाका समेत कई बड़े शहरों में भारी नुकसान के बाद फिलहाल तनावपूर्ण शांति बनी हुई है। सुरक्षा बलों की तैनाती बढ़ा दी गई है, लेकिन हालात अभी भी बेहद संवेदनशील बने हुए हैं। हादी की हत्या ने न सिर्फ बांग्लादेश की आंतरिक राजनीति को हिला दिया है, बल्कि क्षेत्रीय स्थिरता और मीडिया की स्वतंत्रता पर भी गहरी चिंता पैदा कर दी है।


