भारत-पाकिस्तान पंजाब में बाढ़ की भीषण त्रासदी: हजारों बेघर, सैकड़ों मौतें, महिलाएं बनीं उम्मीद की किरण
नई दिल्ली / लाहौर। भारत और पाकिस्तान के पंजाब प्रांत इन दिनों भीषण बाढ़ की चपेट में हैं। दोनों देशों में अब तक 60 लाख से अधिक लोग प्रभावित, सैकड़ों गांव जलमग्न और फसलें पूरी तरह तबाह हो चुकी हैं। जहां बाढ़ ने जीवन को संकट में डाला है, वहीं महिलाओं ने राहत कार्यों की कमान संभालकर मानवता को नई ऊर्जा दी है।
भारत के पंजाब में हालात
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मृतकों की संख्या: अब तक 46 से ज्यादा मौतें, जिनमें बच्चे और बुजुर्ग शामिल हैं।
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प्रभावित क्षेत्र: 23 जिले, 2,050 से अधिक गांव जलमग्न।
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प्रभावित आबादी: 3.9 लाख लोग विस्थापित, हजारों परिवारों को सुरक्षित स्थानों पर पहुंचाया गया।
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फसलें बर्बाद: 1.75 लाख हेक्टेयर कृषि भूमि पर खड़ी फसलें नष्ट हो चुकी हैं।
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राहत और बचाव: NDRF, सेना और BSF की टीमें 24 घंटे मोर्चा संभाले हुए हैं। 219 राहत शिविर सक्रिय।
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पशुधन नुकसान: हजारों मवेशी मरे, पोल्ट्री सेक्टर में बड़ा आर्थिक झटका।
पाकिस्तान के पंजाब की स्थिति
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मृतकों की संख्या: 50 से अधिक लोग अब तक जान गंवा चुके हैं।
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प्रभावित आबादी: 40 लाख से ज्यादा लोग बाढ़ की चपेट में हैं, जिनमें 15 लाख से अधिक विस्थापित हैं।
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बर्बादी का दायरा: 3,900 गांव जलमग्न, हजारों एकड़ पर फसलें खत्म।
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अंतरराष्ट्रीय चेतावनी: संयुक्त राष्ट्र और राहत एजेंसियों ने पाकिस्तान की स्थिति को ‘अत्यंत गंभीर’ बताया है।
बाढ़ राहत में महिला शक्ति की उल्लेखनीय भूमिका
बाढ़ के बीच भारत के पंजाब में महिलाएं न केवल प्रभावित हुईं, बल्कि राहत कार्यों में सक्रिय नेतृत्वकर्ता भी बनीं।
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स्वयंसेवक महिलाएं गाँव-गाँव जाकर राहत सामग्री पहुंचा रही हैं।
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कई महिलाएं दवाइयाँ, भोजन और कपड़े वितरण का काम संभाल रही हैं।
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पुरुषों के साथ कंधे से कंधा मिलाकर, महिलाएं बाढ़ नियंत्रण कार्यों में भी जुटी हैं।
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पूर्व क्रिकेटर युवराज सिंह ने भी सोशल मीडिया पर इन महिलाओं की सराहना की।
सरकारी और सामुदायिक प्रयास
भारत में:
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पंजाब सरकार ने किसानों को रेत निकासी की छूट देने का फैसला किया है ताकि रबी फसलों की बुवाई हो सके।
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राज्य सरकार ने 780 करोड़ से अधिक के नुकसान की रिपोर्ट जारी की है।
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शिरोमणि अकाली दल ने ₹20,000 करोड़ राहत पैकेज और कृषि कर्ज माफी की मांग की है।
पाकिस्तान में:
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राहत शिविरों में स्वास्थ्य सेवाएं, भोजन और अस्थायी आवास की व्यवस्था की जा रही है।
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कई अंतरराष्ट्रीय एजेंसियां मदद के लिए सक्रिय हैं।
बाढ़ का ऐतिहासिक परिप्रेक्ष्य
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पाकिस्तान में 2022 की बाढ़ में 1,730 मौतें हुई थीं और 3 करोड़ 30 लाख लोग प्रभावित हुए थे।
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इस बार की बाढ़ भी उसी स्तर की तबाही लेकर आई है, खासकर पाकिस्तान के लिए।
निष्कर्ष: आशा की लौ बनी महिलाएं
भारत और पाकिस्तान के पंजाब में आई बाढ़ ने जिस तरह जनजीवन, कृषि और स्वास्थ्य ढांचे को तहस-नहस किया है, उससे उबरने में वर्षों लग सकते हैं। लेकिन इसी त्रासदी के बीच, स्थानीय महिलाओं का नेतृत्व, मानवता का साहसिक चेहरा बनकर उभरा है। यह आपदा जितनी विकराल है, उतना ही मजबूत हो रहा है लोगों का सामूहिक प्रयास और जज़्बा।