बीकानेर पश्चिम विधानसभा की वोटर लिस्ट में हुई अनियमितता एवं धाँधलेबाज़ी केसंबंध में पूर्व में भाजपा नेता अरुण आचार्य द्वारा चुनाव आयोग व बीकानेर
ज़िला कलक्टर एवं जिला निर्वाचन अधिकारी भगवती प्रसाद कलाल को पत्र के माध्यमसे अवगत करवाया था, परंतु जिला कलक्टर द्वारा जांच के संबंध में उपयुक्त जवाबनहीं देने व आचार्य के साथ अभद्र व्यवहार करने के कारण गत 6 अक्टूबर 2023 कोराजस्थान उच्च न्यायालय में अरुण आचार्य द्वारा वोटर लिस्ट में धांधली को लेकरतथ्यों के साथ एक याचिका दायर की गई , तत्पश्चात माननीय उच्च न्यायालय ने एकआदेश जारी करते हुए Representation of people Act 1950 के section 22 को ध्यानमें रखते हुए अरुण आचार्य के प्रतिवेदन को रिप्रजेंटेशन एक्ट 1950 के सेक्शन22 के अनुसार उच्च न्यायालय के आदेशों की अनुपालना करते हुए निर्णीत करने काआदेश चुनाव आयोग राजस्थान व जिला निर्वाचन अधिकारी बीकानेर को दिया। तत्पश्चातभाजपा नेता अरुण आचार्य द्वारा गत 8 अक्टूबर को पुनः जिला निर्वाचन अधिकारी कोमाननीय हाई कोर्ट के आदेशों के साथ एक पत्र देकर अलग-अलग तीन सूचियां एक सैंपलके तौर पर दी गई जो कि इस बात का प्रमाण थी की कुछ मतदाताओं के नाम एक हीविधानसभा में दो जगह एवं कुछ मतदाताओं के नाम पश्चिम विधानसभा के अलावा दूसरीकिसी अन्य विधानसभा में भी जुड़े हुए हैं, इसी क्रम में आज दोपहर जिलानिर्वाचन अधिकारी के आदेश पर बीकानेर पश्चिम के रिटर्निंग ऑफिसर एवं एडीएमसिटी जगदीश प्रसाद गौड़ द्वारा हाई कोर्ट के आदेशों के पश्चात उनके द्वारा कीगई जांच की जानकारी देने बाबत आचार्य को कलेक्ट्रट परिसर स्थित अपने कार्यालयबुलाया गया एवं यह जानकारी दी गई कि उनके द्वारा जो डुप्लीकेट वोटर्स की सैंपललिस्ट दी गई थी उसमें से लगभग 20 से 25% वोटर्स डुप्लीकेट पाए गए हैं जिनमेंसे किसी का नाम पश्चिम विधानसभा में ही दो जगह है तो किन्ही वोटर्स का नामपश्चिम विधानसभा के अलावा किसी अन्य विधानसभा में भी है जब आचार्य द्वारारिटर्निंग ऑफिसर जगदीश प्रसाद गौड़ से उनके द्वारा की गई जांच की प्रतिलिपिमांगी गई तो उनके द्वारा 24 घंटे के अंदर प्रतिलिपि उपलब्ध कराने का आश्वासनदिया गया । इस सम्पूर्ण घटनाक्रम से यह प्रमाणित होता है कि भाजपा नेता आचार्यद्वारा 13,343 फर्जी मतदाताओं के संबंध में उठाये गए मसले में यदि प्रशासन एकसामान्य एक्सरसाइस करके स्वयं यह स्वीकार कर रहा है कि 20-25 % धांधली इसमें
पाई गई है तो यदि समस्त राजनीतिक संगठन एवं नेता आमजन के सहयोग से इस धांधलीका विरोध कर इसकी गहनता से जांच करवाएं तो हो सकता है कि लगभग सभी 13,343मतदाताओं में से 50% वोटर्स में अनियमताए पाए जाए ।
पश्चिम विधानसभा की वोटर लिस्ट के प्रकरण में प्रामाणिक सैंपल में 20 से 25 प्रतिशत डुप्लीकेट नामों की जानकारी पायी गई!

