राजस्थान की सियासत में गरमाया माहौल, डोटासरा का पीएम मोदी पर तीखा वार
बीकानेर, 29 सितंबर 2025 – राजस्थान में राजनीतिक बयानबाज़ी एक बार फिर तेज हो गई है। कांग्रेस प्रदेशाध्यक्ष गोविन्द सिंह डोटासरा ने प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी पर सीधा हमला बोलते हुए कहा कि वे अधिकतर समय विदेशी दौरों पर रहते हैं और देश के लिए वास्तविक योगदान के बिना स्वदेशी की बातें करते हैं।
डोटासरा रविवार को बीकानेर के दौरे पर थे, जहां उन्होंने वरिष्ठ कांग्रेस नेता रामेश्वर डूडी के आवास पर उनकी पत्नी व नोखा विधायक सुशीला डूडी से मुलाकात की और डूडी के स्वास्थ्य की जानकारी ली। डूडी काफी समय से कोमा में हैं और वेंटिलेटर सपोर्ट पर हैं।
प्रधानमंत्री के विदेश दौरों पर उठाए सवाल
मीडिया से बातचीत में डोटासरा ने तंज कसते हुए कहा,
“प्रधानमंत्री मोदी देश से अधिक विदेशों में समय बिताते हैं। अगर वह पहले देश के लिए कुछ ठोस काम करते, फिर स्वदेशी की बात करते, तो बात में असर होता।”
उनके इस बयान को आगामी चुनावों से पहले कांग्रेस की रणनीति का हिस्सा माना जा रहा है, जिसमें भाजपा की नीतियों और नेतृत्व पर सवाल उठाना प्राथमिकता बन गई है।
- Advertisement -
वोट चोरी और चुनाव आयोग की भूमिका पर टिप्पणी
वोट चोरी के आरोपों पर पूछे गए सवाल पर डोटासरा ने कहा कि राहुल गांधी अपने आरोपों के साथ सबूत भी प्रस्तुत कर रहे हैं।
“चुनाव आयोग को इन आरोपों की निष्पक्ष जांच कर जवाब देना चाहिए। लोकतंत्र की रक्षा तभी संभव है जब संस्थाएं स्वतंत्र और पारदर्शी तरीके से काम करें,” उन्होंने कहा।
शहरी सेवा अभियान पर बीजेपी को चुनौती
शहरी सेवा अभियान पर बोलते हुए डोटासरा ने दावा किया कि कांग्रेस सरकार के दौरान राज्यभर में 10 लाख पट्टे वितरित किए गए थे।
“अब भाजपा सरकार इस अभियान में 10 हजार पट्टे भी देकर दिखा दे, तो बात बने,” उन्होंने चुटकी ली।
शिक्षा मंत्री मदन दिलावर पर भी निशाना
राज्य के शिक्षा मंत्री मदन दिलावर पर तीखा प्रहार करते हुए डोटासरा ने कहा,
“वे शिक्षा की गुणवत्ता और विकास पर नहीं, बल्कि बेवजह की बातों में उलझे रहते हैं।”
उन्होंने आरोप लगाया कि राजनीतिक द्वेषवश सत्र के बीच में ही पांच हजार शिक्षकों के तबादले कर दिए गए, जो न्यायालय तक पहुंचे।
“कोर्ट ने भी सरकार से पूछा कि इतनी जल्दबाज़ी क्यों की गई,” डोटासरा ने कहा।
इस मौके पर कांग्रेस नेता भंवरसिंह भाटी, देहात कांग्रेस जिलाध्यक्ष बिशनाराम सियाग और कई अन्य स्थानीय नेता भी मौजूद थे।


