


अवैध जल कनेक्शन हटेंगे, पानी चोरी पर अब होगी सख्त कार्रवाई
राजस्थान में जल संसाधनों की रक्षा और जल वितरण प्रणाली को सुधारने के उद्देश्य से जन स्वास्थ्य अभियांत्रिकी एवं भूजल मंत्री कन्हैयालाल चौधरी ने अवैध जल कनेक्शनों और पानी चोरी के मामलों पर सख्त रुख अपनाने के निर्देश दिए हैं। मंत्री ने सोमवार को चूरू जिला परिषद सभागार में जलदाय विभाग की समीक्षा बैठक के दौरान अधिकारियों से कहा कि ऐसे मामलों में कठोर कदम उठाए जाएं और आवश्यकता होने पर मुकदमे भी दर्ज किए जाएं।
पाइपलाइनों की निगरानी और समय पर मरम्मत पर जोर
मंत्री चौधरी ने फील्ड स्तर के अधिकारियों को निर्देश दिए कि वे अपने क्षेत्र में जल आपूर्ति व्यवस्था की नियमित निगरानी करें। पाइपलाइनों की स्थिति जांची जाए और जहां कहीं भी अवैध कनेक्शन पाए जाएं, उन्हें तत्काल प्रभाव से हटाया जाए। इसके साथ ही, पुराने व खराब हो चुके हैंडपंपों और ट्यूबवेलों की मरम्मत कर समय पर चालू करने के निर्देश भी दिए गए।
गुणवत्ता और समयबद्ध कार्यों की प्राथमिकता
मंत्री ने स्पष्ट किया कि राज्य सरकार जल परियोजनाओं पर खुलकर बजट दे रही है, इसलिए विभागीय कार्यों में कोई भी लापरवाही स्वीकार नहीं की जाएगी। सभी कार्य तय समयसीमा में और उच्च गुणवत्ता के साथ पूरे किए जाएं। उन्होंने कहा कि पाइपलाइनें सड़क किनारे डाली जाएं ताकि रखरखाव में सुविधा रहे, और अनुपयोगी सामग्री का समुचित निपटारा सुनिश्चित किया जाए।
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लापरवाह ठेकेदारों पर कार्रवाई के निर्देश
मंत्री चौधरी ने निर्माण कार्यों में लापरवाही बरतने वाले ठेकेदारों के खिलाफ कार्रवाई के निर्देश देते हुए कहा कि ऐसे ठेकेदारों को नोटिस जारी किए जाएं और जुर्माना लगाया जाए। उन्होंने जल जीवन मिशन को सफल बनाने के लिए जनप्रतिनिधियों, अधिकारियों और विभागीय कर्मचारियों से मिलकर ईमानदारी और निष्ठा के साथ काम करने की अपील की।
पारंपरिक जल स्रोतों के संरक्षण की आवश्यकता
समीक्षा बैठक में मंत्री ने पारंपरिक जल स्रोतों के संरक्षण पर भी बल दिया और कहा कि जनसंख्या के अनुरूप जल आपूर्ति सुनिश्चित करना विभाग की प्राथमिक जिम्मेदारी है। इसके लिए दीर्घकालिक और सतत जल प्रबंधन रणनीति पर अमल जरूरी है।
राज्य सरकार द्वारा उठाए जा रहे इन सख्त कदमों से यह स्पष्ट है कि अब जल चोरी और अवैध जल कनेक्शन पर कोई नरमी नहीं बरती जाएगी।