


बांग्लादेश की शेख हसीना सरकार के बाद अब नई अंतरिम सरकार के खिलाफ भी जनता में व्यापक आक्रोश है। बांग्लादेश में तनाव व्याप्त है, जहां प्रदर्शनकारियों ने पूर्व प्रधानमंत्री हसीना पर की गई टिप्पणी को लेकर राष्ट्रपति मोहम्मद शहाबुद्दीन के इस्तीफे की मांग की है। इस मांग ने बांग्लादेश में झड़पें और राजनीतिक उथल-पुथल मचा दी है।
हाल के दिनों में बांग्लादेश में राजनीतिक तनाव काफी बढ़ गया है। कई सौ प्रदर्शनकारियों ने राष्ट्रपति भवन पर धावा बोलने की कोशिश की, आरोप लगाते हुए कि राष्ट्रपति ने शेख हसीना के लिए अपमानजनक टिप्पणी की थी, जो उनके प्रति असम्मान को दर्शाती है। इसके परिणामस्वरूप, सुरक्षा बलों के साथ झड़पें हुईं, जिसमें कई लोग घायल हो गए।
गौरतलब है कि बांग्लादेश की राजनीति में यह उथल-पुथल लंबे समय से चल रही है, लेकिन हाल के घटनाक्रम ने स्थिति को और भी गंभीर बना दिया है। विपक्षी दलों का कहना है कि यह राष्ट्रपति का कर्तव्य है कि वह लोगों की भावनाओं का सम्मान करें और इस्तीफा दें। वहीं, सरकार इस प्रदर्शन को असामाजिक तत्वों का काम मानती है और स्थिति को नियंत्रित करने की कोशिश कर रही है।

राजनीतिक संकट को देखते हुए, बांग्लादेश के नागरिकों में चिंता बढ़ रही है, और कई लोग शांतिपूर्ण समाधान की उम्मीद कर रहे हैं। इस संदर्भ में अंतरराष्ट्रीय समुदाय की प्रतिक्रिया और मध्यस्थता भी महत्वपूर्ण हो सकती है।