


दिल्ली की तिहाड़ जेल के बाहर 13 सितंबर 2024 की शाम को भीड़ का जमावड़ा देखा गया।
ये भीड़ तीन महीने से भी ज़्यादा समय बाद अपने नेता की एक झलक पाने के लिए उत्साहित थी.
थोड़ी देर बाद अरविंद केजरीवाल बाहर आए और कार्यकर्ताओं को संबोधित करते हुए कहते हैं- जेल की सलाखें केजरीवाल के हौसले को कम नहीं कर सकीं.
उस दिन दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल सुप्रीम कोर्ट से ज़मानत मिलने के बाद बाहर आए थे.
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दो दिन बाद 15 सितंबर को एक बार फिर इन्हीं आप कार्यकर्ताओं की भीड़ जुटी और जगह थी आम आदमी पार्टी का दिल्ली दफ़्तर. मंच पर अरविंद केजरीवाल बोल रहे थे और उनके पीछे पार्टी के दूसरे सीनियर नेता बैठे थे. फिर जो हुआ उसकी शायद तब तक वहाँ बैठे कार्यकर्ताओं ने उम्मीद नहीं की होगी.
अरविंद केजरीवाल ने कहा, ”दोस्तो! आज से दो दिन बाद मैं मुख्यमंत्री की कुर्सी से इस्तीफ़ा देने जा रहा हूँ.”
केजरीवाल आगे कुछ बोलते उससे पहले ही पार्टी कार्यकर्ता नहीं, नहीं कहने लगे.

फिर केजरीवाल ने कहा, ”मैं जब तक सीएम की कुर्सी पर नहीं बैठूंगा जब तक जनता अपना फ़ैसला न सुना दे. मैं जनता के बीच जाऊंगा. फ़रवरी में चुनाव हैं. आज मैं इस मंच से मांग करता हूं कि चुनाव नवंबर में महाराष्ट्र के साथ कराया जाए.”
”दो दिन में आम आदमी पार्टी के विधायक दल की बैठक होगी, उसमें नए मुख्यमंत्री का नाम तय होगा. जब तक चुनाव नहीं होते हैं, तब तक मेरी जगह आम आदमी पार्टी से कोई और मुख्यमंत्री बनेगा.”
लेकिन ये कोई और आख़िर कौन है? केजरीवाल और आम आदमी पार्टी किस पर भरोसा जताएंगे?
केजरीवाल की जगह कौन? ऐसा नहीं है कि ये सवाल पहली बार पूछा जा रहा हो.
जब से केजरीवाल कथित शराब घोटाले के आरोप में जेल गए थे, तब से ही विपक्षी दल बीजेपी इस बात को प्रमुखता से उठाती रही है कि केजरीवाल इस्तीफ़ा दें. तभी यही सवाल पूछा जाता था कि केजरीवाल की जगह कौन लेगा?
अब चूंकि केजरीवाल ने ख़ुद इस्तीफ़े की घोषणा की है तो ऐसे में मुख्यमंत्री पद के लिए आम आदमी पार्टी के संभावित चेहरे कौन हैं?