बीकानेर। नशे के दुष्परिणामों के प्रति स्टूडेंट्स को जागरूक करने के लिए स्कूलों में “ऑपरेशन स्टूडेंट्स अगेंस्ट ड्रग्स ‘ चलाया जाएगा। इस अभियान में पुलिस भी शिक्षा विभाग की सहभागी बनेगी। ग्रीष्मावकाश खत्म होने के बाद एक जुलाई से स्कूलें खुल जाएंगी। स्कूलों में पढ़ाई शुरू होने के साथ ही बच्चों को नशे के दुष्परिणाम भी बताए जाएंगे। इस संबंध में रेंज के आईजी ओमप्रकाश पासवान ने शिक्षा निदेशक को पत्र लिखकर संभाग के सभी स्कूलों में यह अभियान चलाने का आग्रह किया है। पत्र में लिखा है कि महज 9-10 वर्ष की आयु से ही बच्चों में नशे की लत लग जाती है। स्कूल-कॉलेजों के स्टूडेंट्स में इसके प्रति जागरूकता का अभाव है। इसे देखते हुए स्टूडेंट्स को नशे के दुष्परिणामों के बारे में बताया जाएगा। साथ ही जीवन में किसी तरह का नशा नहीं करने की शपथ दिलाई जाएगी। बच्चे अपने परिवार, मित्र और रिश्तेदारों को भी जागरूक करेंगे। आईजी ने सुझाव दिया है कि एंटी ड्रग्स कैंपेन पर निबंध लेखन, ड्राइंग, फोटोग्राफी आदि रचनात्मक गतिविधियां भी की जा सकती हैं। नाटकों को मंचन, पेरेंट्स मीटिंग में चर्चा करने के साथ ही नशे के दुष्परिणामों पर एजेंसियों के माध्यम से शॉर्ट फिल्म भी दिखाई जा सकती है। बीकानेर रेंज के चारों जिलों में चलेगा अभियान
नशे के खिलाफ रेंज स्तर पर अभियान चलाया जाएगा। आईजी ने इस संबंध में बीकानेर, हनुमानगढ़, श्रीगंगानगर और चूरू एसपी को पत्र लिखकर कहा है कि अभियान के तहत स्कूल-कॉलेज में नशे के प्रति जागरूकता कार्यक्रम और स्कूलों के आसपास धूम्रपान व मादक पदार्थों की बिक्री करने वालों के विरुद्ध की जाए। उन्होंने प्रत्येक महीने की एक व 16 तारीख को कार्रवाई की रिपोर्ट पेश करने के निर्देश दिए हैं।
स्कूलों में “ऑपरेशन स्टूडेंट्स अगेंस्ट ड्रग्स ‘ चलाया जाएगा

